आफत: 6 मौतें, बारिश-लैंडस्लाइड से 2 NH सहित 124 सड़के बंद, फंसे 100 छात्र, भारी वाहनों पर रोक


हिमाचल प्रदेश में मॉनसून ने दस्तक देते ही तबाही मचा दी है. कई जगह बारिश आफत लेकर आई.भारी बारिश होने से कुल्लू, हमीरपुर और रामपुर में 3 स्थानों पर बादल फटे हैं. हमीरपुर के मंसोली में भारी बारिश के कारण एक व्यक्ति की डूबने, जबकि शिमला के रोहडू में दो व्यक्तियों की पैर फिसलने से मौत हुई है. चंबा में एक व्यक्ति लापता बताया जा रहा है. बीते 72 घंटे में कुल 6 लोगों की मौत हुई है. बीते 12 घंटे में हिमाचल के धर्मशाला में सबसे अधिक 107 एमएम, मंडी के कटौला में 74 एमएम, कांगडा शहर में 90 एमएम और मंडी के गोहर में 67 एमएम बारिश हुई है.

जानकारी के अनुसार, भू-स्खलन होने के कारण राज्य में 7 मकान क्षतिग्रस्त हुए हैं, बाढ़ की चपेट में आने से है. 4 गोसदनों के क्षतिग्रस्त होने के साथ 5 गौवंश और 35 के करीब बकरियां बहने की भी सूचना है. कुल्लू में मौहल खड्ड में बादल फटने उसे पानी का स्तर बढ़ गया, जिसमें 5 वाहनों और 3 ट्रैक्टरों को काफी नुकसान पहुंचा है. मंडी के थुनाग में भी बादल फटने से भारी तबाही हुई है मंडी के सराज की तुंगधार और कुल्लू की मौहल खड्ड में बाढ़ से एक दर्जन वाहन बह गए और कई घर क्षतिग्रस्त हुए हैं. कांगड़ा के नगरोटा बगवां के उपरली मझेटली में बिजली गिरने से मां और डेढ़ साल का बच्चा झुलस गए. उन्हें नगरोटा अस्पताल में भर्ती किया गया है.

मंडी के शिकारी देवी में शनिवार रात 200 लोग फंस गए, जिन्हें छह घंटे बाद निकाला गया. अब भी वहां पर 100 से अधिक छात्र फंसे हुए हैं. कालका-शिमला रेलवे ट्रैक पर जगह-जगह पहाड़ियों से पत्थर, मलबा और पेड़ गिरने से दूसरे दिन भी सभी ट्रेनें रद्द हो गईं. सिर्फ टॉय ट्रेन ही शिमला पहुंच पाई. प्रदेश में मौसम विज्ञान केंद्र शिमला ने सोमवार को ऑरेंज और मंगलवार के लिए येलो अलर्ट जारी किया है.

चंडीगढ़ मनाली नेशनल हाईवे अभी भी बंद है. चार मील और सात मील के पास मलबा हटाने का काम शुरू कर दिया गया है, लेकिन इसे बहाल होने में अभी समय लगेगा.

 


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